बिलासपुर । राजस्व अधिकारियों की लापरवाही और भ्रष्टाचार के मामले तो आए दिन समय-समय पर सामने आते रहते हैं लेकिन बिलासपुर के मस्तूरी तहसीलदार का एक नया मामला सामने आया है.. जिसमें तहसीलदार मनोज खांडे के खिलाफ जमीन दलाल से मिलकर जमीन बेचने का दबाव बनाने की शिकायत की गई है.. बता दें कि बिलासपुर के अंतर्गत आने वाले मस्तूरी ब्लाक के जयरामनगर चित्रलेखा राठौर की भूमि है जिसमें वह पिछले कई वर्षों से काबिज हैं और वहां पर खेती किसानी का काम उसके परिवार द्वारा किया जाता है.. जबकि चित्रलेखा के पति बुजुर्ग होने की वजह से काम करने में असमर्थ है.. ऐसे में इलाके के जमीन दलाल मनोहर राठौर द्वारा तहसीलदार मनोज खांडे के साथ मिलकर पहले तो उस जमीन के खिलाफ तहसील कोर्ट में मामला लगाया.. उसके बाद तहसीलदार के जरिए जमीन बेचने का दबाव बनाने लगा.. मामले की सुनवाई लगने के बाद जब चित्रलेखा और उसकी पुत्री तहसील ऑफिस पहुंचे तो वहां तहसीलदार द्वारा दबाव बनाते हुए मनोहर के साथ समझौता कर जमीन बेचने की बात कही गई इसके बाद चित्रलेखा ने जब तहसीलदार के इस पौधे से नाराजगी जताई तो उसे जमीन छिन जाने का डर भी दिखाया गया.. जिसके बाद चित्रलेखा अपनी बेटी मनोरमा राठौर के साथ जिला कलेक्टर के ऑफिस में पहुंचकर फरियाद लगा रही है कि उसकी पुश्तैनी जमीन उसे वापस की जाए.. राजस्व अधिकारियों के भ्रष्टाचारी के मामले आए दिन देखने को मिलते हैं लेकिन गरीब और मजलूम को जरिया बनाकर और उन्हें कार्रवाई का डर दिखाकर जमीन बेचने के लिए दबाव बनाने का मामला पहली बार देखने को मिल रहा है अब देखना होगा कि जिला कलेक्टर असहाय महिला की गुहार सुनकर आखिर किस तरह की कार्रवाई करते हैं।