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सड़क निर्माण ठेकेदारों की दादागिरी से सत्ता पक्ष को लोकसभा चुनाव में हो सकता नुकसान? … बिना मुआवजा के किसानाों के खेत में कब्जा करने का मामला, ठेकेदार के प्रति क्षेत्रवासियों में जबरदस्त नाराजगी

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जोहार छत्तीसगढ़-धरमजयगढ़।

धरमजयगढ़ क्षेत्र से होकर गुजरने वाली भारतमाला परियोजना के तहत सड़क निर्माण का कार्य किया जा रहा है। भारतमाला परियोजना के ठेकेदार द्वारा किसानों के खेत में बिना मुआवजा दिए ही काम शुरू करने का मामला हर दिन सुनने वा देखने को मिल रहा है। ठेकेदार की इस रवैया के कारण अगामी दिनों में होने वाले लोकसभा चुनाव में सत्ता पक्ष को नुकसान होने की संभावना बना हुआ है। क्योंकि ग्रामीणों में ठेकेदार के खिलाफ बहुत अधिक नाराजगी देखने को मिल रहा है। किसानों का आरोप है कि सड़क निर्माण ठेकेदार द्वारा किसानों के जमीन पर जबरन मनामनी करते हुए काम कर रहे हैं जबकि शासन का नियम है कि कोई भी निर्माण एजेंसी पट्टे वाली जमीन की पहले मुआवजा देगा उसके बाद ही निर्माण कार्य शुरू कर सकते हैं लेकिन धरमजयगढ़ ब्लॉक में ऐसा नहीं देखने को मिल रहा है। भारत माला परियोजना में ऐसे कई किसान है जिनको मुआवजा राशि नहीं मिला है उसके बाद भी किसान के खेत में काम करना चालु कर दिया। बाकारूमा में तो ग्रामीणों ने बाकायदा भारतमाला परियोजना का काम बंद करवा दिया था। वहीं बायसी कॉलोनी में भी सड़क निर्माण कंपनी द्वारा एक महिला की जमीन पर जबरन काम शुरू करने का मामला सामने आया था। बगुडेगा में भी बिना मुआवजा के जमीन पर कब्जाकर काम करन एवं खेत लगे वृक्ष को काटने का मामला सामने आया है किसान ने लिखित एसडीएम से शिकायत किया है। मजेदार बात है कि बायसी कॉलोनी में ठेकेदार के कर्मचारियों ने धरमजयगढ़ के अधिकारी पर मुआवजा नहीं बाटने का आरोप लगाए हैं। कंपनी वालों का कहना है कि मुआवजा किसको मिला किसको नहीं मिला इससे हम लोगों को कोई मतलब नहीं है, हमारा काम हम करेंगे जिसको जो करना करते रहो? सड़क निर्माण कंपनी की इतनी अधिक मनमानी चल रहा है कि अधिकारियों पर ही मुआवजा नहीं बाटने का आरोप लगा रहे हैं।

क्यों हो सकता है सत्ता पक्ष चुनाव में नुकसान?

भारतमाला परियोजना में प्रभावित ग्रामीणों में सड़क निर्माण एजेंसी के प्रति नाराजगी कहीं कहीं चुनाव में सत्ता पक्ष को नुकसान ही पहुंचायेेगा। प्रभावित ग्रामीणों से चर्चा करने पर बताया कि हम लोग ऑफिसों का चक्कर लगा-लगाकर थक गये हैं कोई सनुता ही नहीं है। छत्तीसगढ़ में सरकार तो बदल गया है पर सरकारी ऑफिसों में काम करने का तरीका अभी भी वैसा ही है जैसा कांग्रेस के शासन में था। ठेकेदार के कर्मचारी ग्रामीणों के साथ दादागिरी तो करते ही है लेकिन शिकायत लेकर जाने पर ग्रामीणों के शिकायत पर कार्यवाही भी नहीं करते हैं जिससे क्षेत्र में जबदस्त नाराजगी देखने को मिल रहा है और ये नाराजगी कहीं न कहीं सत्ता पक्ष को लोक सभा चुनाव में नकसाान ही पहुंचायेगा। भारतमाला परियोजना में प्रभावित किसान सुराज राठिया पिता संपत राठिया द्वारा 5 मार्च 2024 को बगुडेगा निवासी ने अनुविभागीय अधिकारी राजस्व धरमजयगढ़, जिला कलेक्टर रायगढ़ एवं लोक निर्माण मंत्री अरूण साव को लिखित में शिकायत किया है।

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