जोहार छत्तीसगढ़-रतनपुर।
में कोयले की अफरा-तफरी का खेल बंद ही नहीं हो रहा है। कुछ माह पहले ही कलेक्टर.एसपी ने रतनपुर से लेकर हिर्री तक संचालित अवैध कोल डिपो को बंद कराया था, धीरे-धीरे फिर से शुरू कर दिया गया है। रतनपुर के बेलतरा,जाली रोड किनारे में लगा रखे है कांटा दर असल, कोरबा के खदानों से भेजे जा रहे कोयले का एक बड़ा हिस्सा रतनपुर से लेकर हिर्री और सरगांव क्षेत्र के कोल डिपो में खपाया जाता है। यहां संचालित अवैध कोल डिपो में ड्राइवर से मिलीभगत कर डिपो संचालक अपने कर्मचारियों के माध्यम से रात को रोड किनारे कांटा लगा कर काम कीमत में खरीद कर सुबह डिपो में सप्लाई कर अच्छी क्वालिटी के कोयले को निकालकर उसमें गिट्टी और बजरी की मिलावट करते हैं। यह अवैध कारोबार बड़े पैमाने पर चल रहा है। हाल ही में ट्रांसपोर्टर की शिकायत पर पुलिस ने ड्राइवर और डिपो संचालक के खिलाफ केस दर्ज किया है। ट्रांसपोर्टर की शिकायत पर पुलिस ने ड्राइवर और डिपो संचालक के खिलाफ केस दर्ज किया है। रतनपुर क्षेत्र में बगदेवा से लेकर मोहतराई तक कई अवैध कोल डिपो संचालित हैं, जहां चोरी का कोयला खपाया जाता है।
ड्राइवर और डिपो संचालक पर केस दर्ज
ऐसे ही कोयले की अफरा-तफरी की शिकायत ट्रांसपोर्टर पंकज सिंह गांधी ने रतनपुर पुलिस से की थी, जिसमें उन्होंने बताया कि अंगद रोड लाइंस के नाम पर वह ट्रांसपोर्ट कंपनी संचालित करता है, जिसमें उसकी पत्नी के नाम पर दो ट्रेलर हैं, जिसे चलाने के लिए उन्होंने ड्राइवर रखा था। दोनों ट्रेलर के ड्राइवर 28 नवंबर को 35.35 टन कोयला लोड कर फैक्ट्री में लेकर जाने के लिए निकले थे। जिसे उन्होंने रास्ते में रतनपुर स्थित मोहतराई में रोमी मौर्य के कोल डिपो में खपा दिया था और उसके बदले में चूरा और घटिया कोयला लोड कर फैक्ट्री में छोड़कर भाग गए। फैक्ट्री से उन्हें घटिया कोयला सप्लाई करने की जानकारी मिली, तब उन्होंने पतासाजी की। कोल डिपो में अच्छी क्वालिटी का कोयला खपाने की जानकारी मिलने के बाद उन्होंने शिकायत की थी। उनकी रिपोर्ट पर पुलिस ने दोनों ट्रेलर ड्राइवर व डिपो संचालक के खिलाफ के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। पुलिस इस मामले की जांच कर रही है।