जोहार छत्तीसगढ़-पत्थलगांव।
किलकिला के पावन धरा जहां स्वयं भगवान भोलेनाथ बिराजमान है। मांड नदी की पानी की तट पर पत्थलगांव का रौनियार समाज ने बड़े ही धूमधाम से महर्षि कश्यप जयंती मनाया बीते दो महीने से तैयारी में जुटा रहा था पत्थलगांव रौनियार समाज सभी ने अपने अपने प्रतिष्ठान बंद रखा सुबह से ही रौनियार समाज के लोगों ने अपनी अपनी वाहन से तय जगह किलकिला के पावन धाम भगवान भोलेनाथ किलकीलेश्वर धाम पहुचे जहां 10 बजे महर्षि कश्यप जयंती का विधिवत कार्यक्रम को शुरू किया गया जहां सर्वप्रथम महर्षि कश्यप की फ ोटो पे फ ूल माला पहना कर अगरबत्ती दिखा कर पूजन किया गया जहां महर्षि कश्यप मुनि की आरती गाई गई। तटपश्चात 5 अप्रैल कश्यप जयंती की शुरुआत की गई सबसे पहले किलकिलेश्वर मन्दिर में विराजमान कपिल मुनि से भोग लगवा कर उनसे अनुमति मांग कर रौनियार समाज के आये परिवार जनों को जलपान ग्रहण करने कहा ततपश्चात सभी ने जलपान ग्रहण किया।
दिन भर मैं रौनियार हु गाना से किलकिलेश्वर धाम प्रांगण पूरी तरह गुंजायमान रहा
महर्षि कश्यप मुनि के फ्लेक्स के पास काफी लोग सेल्फी लेते दिखे जो सामाजिक भाई चारे और समाज के लिए एक तरह से ऊर्जा का संचार करने जैसा था। सभी ने बढ़ चढ़ कर महर्षि कश्यप जयंती में हिस्सा लिया लगभग 11 बजे समाज के आये सभी परिवार के लोग महर्षि कश्यप मुनि के लगाए बैनर के पास बारी बारी से बुलाया गया और उन्हें एक उपहार और एक गमछा दिया गया जिससे समाज का हर ब्यक्ति बहुत ज्यादा खुश दिखा समाज के लोग जब एक जगह एक मंच में पूरे परिवार के साथ मिलते है। तो आनन्द बहुत बढ़ जाता है। वो खुशी देखते ही बनती है। यही वो समय होता है। जब पूरे समाज के लोग एक दूसरे से अच्छी तरह मिल पाते है। जहां आज के दौर में पूरी तरह जिंदगी सभी की भागम भाग वाली है। किसी के पास भी समय नही है। पर जब भी मौका मीले और खास कर समाज के बीच तो उन समय का जम कर आनंद उठाना ही चाहिए और वही पत्थलगांव का रौनियार समाज ने भी किया और जम कर भरपूर आनन्द उठाया। लगातार सुबह से मैं रौनियार हु रौनियार कहलाता हु जैसे गीतों से पूरा मन्दिर प्रांगण गुंजायमान था सभी बच्चे से लेकर महिलाये ताली बजा कर सभी का हौशला बढा रहे थे।
शिवा गुप्ता ने मैं रौनियार हुं गाना गाकर सभी को मंत्र मुग्ध कर दिया
12 बजे से किये गए खेलो जिसमे छोटे बच्चो सहित महिलाओ, पुरुषों ने भी विविध प्रकार के आयोजित खेलो में भाग लिया जिसमे बच्चो से लेकर सभी वर्ग की महिलाओ सहित पुरुषो ने भी भाग लिया। कुर्शी दौड़, से लेकर टेबल में रखे गिलास को टेनिस बाल से मार कर गिराने जैसे कार्यक्रम में भाग लेकर महिलाओ ने जम कर लुफ्त उठाया इसी तरह हाथ बांध कर चाकलेट तोडऩाए और कम समय मे ज्यादा धागा सुई में डालने जैसे कार्यक्रम किये गए सभी खेल होने के पश्चात रौनियार समाज के लोगो ने भोजन ग्रहण किया भोजन करने के बाद खेलो में जितने वाले विजेताओं को समाज के तरफ से पुरुस्कृत किया गया जिसमें महिलाओं और बच्चो में बहुत खुशी देखी गई। पत्थलगांव रौनियार समाज ने पुरुस्कार देकर सभी जीते बच्चो से लेकर पुरुष और महिलाओं का मनोबल बढाया जिसमे कई बार जीते विजेता को उसके मम्मी से या पापा से ही पुरुस्कार दिलवाया गया शाम के चार बजे पत्थलगांव रौनियार समाज के एक ग्रुप फ ोटो के साथ कार्यक्रम का समापन किया गया। जहां रौनियार समाज का युवा वर्ग बहुत ज्यादा आगे रह कर इस जल्दबाजी और कम समय मे आयोजित किये गए महर्षि कश्यप जयंती समारोह की बेहतरीन ढंग से मनाने बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया वो पत्थलगांव रौनियार समाज को गौरान्वित करती है। सबसे आखरी में पत्थलगांव रौनियार समाज के मुखिया अरुण गुप्ता के द्वारा कार्यक्रम को बेहतरीन ढंग से आयोजित करने पर युवाओ को शुभकामनाएं दी एवं महर्षि कश्यप जयंती की विधिवत समापन की घोषणा की।