धरमजयगढ़-जोहार छत्तीसगढ़।
रायगढ़ जिले के धरमजयगढ़ के आमापाली में किसानों के खेती किसानी को ध्यान में रखते हुए मवेशी बाजार खोला गया था। ताकि कृषकों को खेती किसानी करने में सहुलियत हो। आमापाली बाजार को सरपंच द्वारा खुली नीलामी ना कर चुपचाप गोपनीय तरीके से दो साल तक सस्ते में नीलामी कर दिया गया था। जबकि शासन के नियमानुसार बाजार नीलामी का ईश्तहार दो समाचार पत्रों में एवं ब्लॉक मुख्यालय के चौक चौराहो में चस्पा करना अनिर्वाय होता है। लेकिन ऐसा न करते हुए गापनीय तरीके से बाजार के नीलामी लाखों के जगह हजारो में कर दिया गया था। सबसे मजेदार बात है कि मार्च 2020 तक ही ठेकेदार को ठेका दिया था उसके बाद नया नीलामी फिर से करवाना था सरपंच-सचिव को, लेकिन कोरोना काल के कारण पूरे देश में लॉक डाऊन लगा दिया गया था। जिसके कारण नीलामी नहीं हो सका। लेकिन मवेश व्यापारी मवेशी का धंधा लॉक डाऊन के बाद भी सारे नियम कानून को धत्ता बताते हुए कर रहे हैं। मवेशी व्यापारियों से ठेकेदार के आदमी दादागिरी करते हुए मवेशी व्यापारियों से हजार रूपये की अवैध वसूली कर रहे हैं। जबकि ठेकेदार का ठेका मार्च 2020 में ही खत्म हो गया है अगर कोई व्यापारी ठेकेदार को वसूली का रसीद मांगते हैं तो ठेकेदार के लोग मारपीट करते हैं। व्यापारी बेचारा क्या करें धंधा जो करना है मार खाने के बाद भी हजार रूपये अवैध वसूली कर्ता को दे रहे हैं। इस अवैध वासूली की शिकायत जिला कलेक्टर से करेंगे। जबकि सरपंच आमापाली को बाजार के नाम पर हो रहे अवैध वसूली पर लगाम लगाना चाहिए ताकि अधिक व्यापारी व्यापार कर सके बिना डर भय के।