रायगढ़/
कलेक्टर भीम सिंह द्वारा दिए गए दिशा-निर्देशों के अनुरूप सीईओ जिला पंचायत सुश्री ऋचा प्रकाश चौधरी की वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए हुई समीक्षा बैठक के बाद इसका सकारात्मक असर अब दिखने लगा है। धरमजयगढ़ ब्लॉक के विभिन्न संकुलों में अब ऑनलाइन शिक्षा से वंचित छात्रों तक ऑफलाइन शिक्षा अंतर्गत लाउडस्पीकर गुरुजी मॉडल की शुरूआत हो चुकी है, जिसके माध्यम से लाउडस्पीकर के जरिये अध्यापन करा कर लक्षित बच्चों तक शिक्षा पहुँचायी जा रही है। लाखीमार धरमजयगढ़ के शिक्षक निरंजन पटेल द्वारा लाउडस्पीकर के द्वारा यह सराहनीय पहल शुरू की जा चुकी है। साथ ही धरमजयगढ़ ब्लॉक के ही संकुल केन्द्र साजापाली के चूल्हा खोल प्राथमिक शाला सहित अन्य कई स्कूलों में पढ़ई हमर पारा मॉडल के जरिए भी बच्चों को शिक्षा दी जा रही है ज्ञात हो कि छत्तीसगढ़ में ऑनलाइन क्लास में लगातार आ रही कुछ दिक्कतों के मद्देनजर चुनौतियों से निपटने छ.ग. शासन ने ऑफलाइन की संकल्पना अंतर्गत अन्य 8 वैकल्पिक शिक्षा मॉडल तय कर राज्य के 10 हजार ग्राम पंचायतों में करीब 10 लाख बच्चों तक शिक्षा पहुचाने के लिए राज्य के सभी जिलों की प्रत्येक पंचायत में कम से कम एक स्कूल में लाउडस्पीकर गुरुजी शिक्षा मॉडल की योजना तैयार कर रखी थी। कलेक्टर श्री भीम सिंह के निर्देश के बाद पढ़ई तुंहर पारा और लाउडस्पीकर गुरुजी ऑफलाइन शिक्षा मॉडल की शुरुआत क्रमश: लैलूंगा व धरमजयगढ़ ब्लॉक में हो चुकी है बता दे कि कलेक्टर भीम सिंह के निर्देश व वीडियो कॉन्फे्रसिंग समीक्षा बैठक में जिले के समस्त प्राचार्यों संकुल शैक्षिक समन्वयक को स्पष्ट निर्देश दिया गया था कि अधिक से अधिक ऑनलाइन क्लास जेनेरेट करते हुए जहां पर नेटवर्क नहीं है उन गांवों एवं मोहल्लों में शिक्षक जाकर लाउडस्पीकर से पढ़ाई करवाये। साथ ही गांव के पढ़े-लिखे लड़को, लड़कियों, रिटायर्ड शिक्षक, सरपंच, सचिव आदि का वालिटियर्स के रूप में सहयोग लेकर ऑफलाइन शिक्षा के विभिन्न वैकल्पिक मॉडल को अपनाएं और लक्षित बच्चों तक हर हाल में शिक्षा पहुँचायी जाय। इस महती योजना को अमलीजामा पहनाने के लिए जिला शिक्षा अधिकारी आर.पी. आदित्य एवं जिला मिशन समन्वयक रमेश देवांगन का द्वारा लगातार प्रयास जारी है।