जोहार छत्तीसगढ़-खरसिया।
कहा जाता है कि किसी भी देश के नागरिकों को शिक्षा और चिकित्सा की सुविधा मुफ्त अथवा कम से कम दरों में मिलनी चाहिये लेकिन खरसिया में स्कूल प्रबंधनों के द्वारा शिक्षा को मोटा मुनाफा देने वाले व्यापार में परिवर्तित कर पालकों की जेब ढीली की जा रही है और बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ किया जा रहा है। खरसिया के बाम्हनपाली रोड में संचालित चैतन्य स्कूल का ऐसा ही एक मामला प्रकाश में आया है जहां बच्चों का एडमिशन करने के बाद भी स्कूल प्रबंधन द्वारा उन्हें पढ़ाया नहीं जा रहा है, स्कूल प्रबंधन की मनमानी से त्रस्त पालक ने जिला कलेक्टर, जिला शिक्षा अधिकारी सहित विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी को शिकायत कर बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ करने वाले स्कूल पर कड़ी कार्यवाही करने की मांग की है। गौरतलब है कि चैतन्य पब्लिक स्कूल के द्वारा बच्चों का एडमिशन तो ले लिया गया लेकिन उन्हें पढ़ाने के लिये शिक्षकों की नियुक्ति नहीं की है। सूत्रों की माने तो 11 वीं कक्षा में बच्चे कम है इसलिये प्रबंधन के द्वारा शिक्षकों की नियुक्ति नहीं की गयी है। और 11 वीं के दो कक्षाओं के बाद बच्चों को खाली बैठा दिया जाता है। दिलचस्प बात यह है कि उक्त स्कूल में कक्षा 10 वीं तथा 12 वीं की कक्षा संचालित है किंतु 11 वीं की कक्षाओं के लिये स्कूल प्रबंधन के पास शिक्षक नहीं है। बहरहाल मामले के संबंध में पालक ने जिला कलेक्टर, जिला शिक्षा अधिकारी सहित विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी से गुहार लगा कर बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ करने वाले स्कूल पर कड़ी कार्यवाही करने की मांग की है।
खुलेआम चल रहा शिक्षा का व्यापार
शिकायत पत्र में उल्लेख किया गया है कि उक्त स्कूल के द्वारा बच्चों की किताबें, स्कूल के कपड़े, स्कूल प्रबंधन के द्वारा स्कूल से ही बेचा जाता है। जो के बाजार मुल्य से अधिक होता है और स्कूल प्रबंधन के द्वारा कपड़े और किताबें स्कूल से ही खरीदने का दबाव बनाया जाता है। इस प्रकार स्कूल प्रबंधन के द्वारा खुलेआम लूट की जा रही है।
प्रिंसीपल का नहीं उठा फोन
उपरोक्त संबंध में स्कूल प्रबंधन का पक्ष जानने के लिये चैतन्य स्कूल के प्रिंसीपल विश्वजीत सिंह को उनके मोबाईल में फोन किया गया परंतु उनके द्वारा फोन नहीं उठाया गया।
करायेंगे जांच, होगी कार्यवाही-बीईओ एस. के. देवांगन
उपरोक्त संबंध में विकासखण्ड़ शिक्षा अधिकारी एस. के. देवांगन ने बताया कि स्कूल प्रबंधन के खिलाफ शिकायत मिली है, मामले की जांच कर उचित कार्यवाही की जायेगी।