कोरबा चालू वित्तीय वर्ष में अपने निर्धारित लक्ष्य से पीछे चल रही कुसमुंडा, गेवरा खदान में उत्पादन बढ़ाने की कवायद तेज हो गई है। एसईसीएल के सीएमडी समेत दोनों निदेशक तकनीक ने गेवरा व कुसमुंडा परियोजना का न केवल दौरा किया, बल्कि चारों क्षेत्र के महाप्रबंधक व विभाग प्रमुख की बैठक लेकर उत्पादन बढ़ाने पर जोर दिया।
साउथ इस्टर्न कोलफिल्ड्स लिमिटेड एसईसीएल को चालू वित्तीय वर्ष में 172 मिलियन टन से भी अधिक कोयला उत्पादन करना है। इसके साथ ही प्रबंधन की नजर गेवरा, दीपका व कुसमुंडा परियोजना पर भी टीक गई है। गेवरा को 49 मिलियन टन, दीपका को 35 व कुसमुंडा को 43 मिलियन टन कोयला उत्पादन करना है। ऐसी स्थिति में तीनों परियोजना को प्रति माह उत्पादन भी बढ़ाना है। बताया जा रहा है कि गेवरा व कुसमुंडा परियोजना चालू वित्तीय वर्ष में अपने उत्पादन लक्ष्य से काफी पीछे चल रही है। जितना कोयला उत्पादन रोजाना होना चाहिए उतना भी नहीं हो रहा। इससे प्रबंधन चिंतित हो उठा है। बारिश शुरू होने वाली है इस दौरान कोयला उत्पादन में गिरावट आएगी इससे निपटने के लिए कार्ययोजना तैयार करने एसईसीएल के सीएमडी एपी. पंडा, निदेशक तकनीक मनोज कुमार व निदेशक तकनीक योजना परियोजना एस.के. पाल कुसमुंडा व गेवरा खदान पहुंचे। खदानो का निरीक्षण करने के बाद एसईसीएल कोरबा, गेवरा, दीपका व कुसमुंडा महाप्रबंधक विभाग प्रमुख की बैठक ली। इस दौरान उत्पादन में पिछड़ने पर गेवरा व कुसमुंडा के प्रति नाराजगी जाहिर की। उन्होंने मानसून अवधि 15 जून से 15 सितंबर के दौरान उत्पादन में किसी तरह की दिक्कत न हो इसकी कार्ययोजना के संबंध में अधिकारियों से चर्चा करने के बाद आवश्यक निर्देश दिया। इस दौरान उन्होंने कहा कि कार्ययोजना का पालन करते हुए उत्पादन बढ़ाया जाए, ताकि वित्तीय वर्ष में कंपनी में अपना लक्ष्य हासिल कर सके। इसके साथ ही उन्होंने अधिकारियों से कहा कि सभी परियोजना मासिक उत्पादन अभी से बढ़ाए ताकि बारिश के बाद लक्ष्य हासिल करने किसी तरह की दिक्कत न हो। इस मौके पर गेवरा क्षेत्र के महाप्रबंधक एस.के. मोहंती, दीपका क्षेत्र के महाप्रबंधक रंजन पी शाह, कुसमुंडा महाप्रबंधक आर.पी. सिंह व कोरबा क्षेत्र के महाप्रबंधक एन.के. सिंह समेत सभी वरिष्ठ अधिकारी उपस्थति रहे।